प्रतिज्ञा 2 के 23 मार्च के एपिसोड की पूरी कहानी हिंदी में पढ़े,जाने आज के एपिसोड में समर ने कृति को थप्पड़ क्यों मारा? प्रतिज्ञा ने कृष्णा को माफ किया या फिर नहीं? आखिर कृष्णा ने ऐक्सिडेंट वाली कार का क्या किया? इन सभी सवालों के जवाब आपको इस लेख के माध्यम से मिल जाएगा। जिसमें प्रतिज्ञा 2 के 23 मार्च के एपिसोड की पूरी कहानी बताई गई है।
प्रतिज्ञा 2: 23 मार्च के एपिसोड की पूरी कहानी
एपिसोड की शुरुआत किचन के दृश्य से होती है,जहां कोमल कहती है,की मैं गर्व को खाना खिलाकर आती हूं। सबके साथ वह खाना ठीक से नहीं खाता है,फिर वह खाना लेकर गर्व की ओर जाती है। इधर गर्व और कृष्णा कमरे में एक साथ बैठे होते है,गर्व किसी सोच मे खोया होता है,तभी कृष्णा उसे समझाता है,की अब कुछ नहीं होगा। तभी कोमल वहां आती है,और गर्व को खाना खाने को कहती है,गर्व खाना खाने से इंकार कर देता है,फिर कृष्णा उसे खिलाने को कोशिश करता है,लेकिन वह वहां नहीं खाता है,फिर कृष्णा उसे सब लोगों के बीच खाना खाने के लिए कहता है,गर्व के साथ कृष्णा और कोमल भी उठते है,और कमरे के बाहर जाना चाहते है,तभी कोमल कृष्णा से पूछती है,की तुम लोगो ऐसे इतने दिनों से उखड़े क्यों हो? कोई परेशानी है क्या? इस पर कृष्णा कोमल से कहता है,कोई परेशानी नहीं है,और फिर प्रश्न को ज्यादा तवज्जो ना देते हुए, कमरे के बाहर निकल जाता है। फिर कोमल आदर्श के फोटो को देखते हुए,कृष्णा और गर्व के व्यवहार को बताती है और व्यवहार की जड़ के बारे में पता करने की ठानती हैं।
फिर घर के अंदर का दृश्य देखने को मिलता है,जिसमें समर और उसका भाई दोनों साइकिल चला रहे होते है। उसी बीच कृति अपनी एक फ्रैंड जो बहुत मोटी होती है। उसके साथ आती है,फिर वह समर से साइकिल मांगती है,लेकिन समर का भाई उस मोटी लड़की के लिए साइकिल देने से इंकार करने लगता है, फिर कृति और समर में साइकिल के लिए झगड़ा हो जाता है,और समर कृति को थप्पड़ मार देता है। उसके बाद सभी घरवाले अंदर आते है,और फिर कृति को रोता देखकर सभी समर को डांटने लगते है। शक्ति अपने बेटे का पक्ष लेने लगता है,और सबसे कहने लगता है,की बच्चे है छोटी – छोटी बात पर झगड़ा हो जाता है,इसमें हम बड़ो का पड़ना ठीक नहीं है। शक्ति के इस बात पर सज्जन सिंह उसे डांटने लगते है,और फिर समर अपने दादा सज्जन सिंह से पूछता है,की चाचा ने चाची को थप्पड़ मारा तो, मैं क्यों नहीं मार सकता हूं? इस बात पर सभी घरवाले हैरान हो जाते है,और कृष्णा को कोसते है। कृष्णा को गलती का एहसास होता है,और वह प्रतिज्ञा से माफी मांगता है। और सब लोग फिर समर से माफी मांगने को कहते है, समर फिर कृति से माफी मांगता है।
सभी लोग फिर होलिका – दहन को सेलिब्रेट करने लगते है। कृष्णा प्रतिज्ञा को मनाने की कोशिश करता है,लेकिन वह उसे इग्नोर करती है। फिर वह सज्जन सिंह से पूछते है,की क्या बाबूजी ऐसी मान्यता है,क्या की हम अपनी सभी गलतियों और बुराइयों को होलिका दहन के दिन जलातेै हैै, सज्जन सिंह हामी भरते है। तब कृष्णा अपना हाथ होलिका में जलाने लगता है। सभी उसे रोकते है,और कृष्णा की मां कृष्णा पर गुस्सा हो जाती है। प्रतिज्ञा फिर कृष्णा को दवाई लगाने जाती है।
अगले दृश्य में प्रतिज्ञा कृष्णा को दवाई लगाते हुए,कृष्णा को प्रतीकात्मक शब्दों में डांटती है। कृष्णा प्रतिज्ञा को मनाने में लगा हुआ होता है,फिर प्रतिज्ञा को कहता है,की मुझे मारोन,फिर प्रतिज्ञा कृष्णा को धीरे से मारती है,और रोमांटिक अंदाज में कहती है,की फिर ऐसी गलती दोबारा कभी मत करना। कृष्णा हामी भरता है,और प्रतिज्ञा को गले लगा लेता है। इसी बीच प्रतिज्ञा कृष्णा को कहती है,की बच्चे बड़े हो गए है,यह तुम क्या कर रहे हो? लेकिन कृष्णा प्रतिज्ञा की बिना सुने उसे गले लगा लेता है, इसी बीच प्रतिज्ञा के पास बलवंत त्यागी का फोन आता है,बलवंत प्रतिज्ञा से पूछता है,की केस से संबंधित कोई और जानकारी मिली है। प्रतिज्ञा जवाब देते हुए बताती है,की ऐक्सिडेंट वाली कार बरामद कर ली गई है और उस कार में लगे फिंगरप्रिंट के आधार पर ही अपराधी तक पहुंचा जाएगा। कृष्णा यह सब सुनकर एक दम हैरान हो जाता है,फिर वह कार की तरफ बढ़ने लगता है।
कृष्णा एक झाड़ी के तरफ पहुंचता है,जहां उसे वह कार दिखाई पड़ती है, कार से थोड़ी दूर पुलिस की गाड़ी जाती है। वहीं कार के दूसरे हिस्से की तरफ एक सिपाही कार की रखवाली कर रहा होता है,लेकिन कृष्णा दूसरी तरफ से उससे बचते हुए कार से फिंगर प्रिंट के निशान मिटाने की कोशिश करता है,थोड़ी देर बाद वहां बलवंत त्यागी अपने भाई के साथ पहुंच जाता है,और कृष्णा उन्हे देखकर हैरान हो जाता है,लेकिन वह कर की दूसरी तरफ बैठ कर छुप जाता है। कृष्णा को अब कुछ समझ नहीं आता है,इसलिए वह कार के फ्यूल टैंक कि नली काट देता है। जिससे फ्यूल जमीन पर गिरने लगता है। कृष्णा छिपाते हुए झाड़ी की ओर चला जाता है,और वह माचिस जलाकर दूर से गिर रहे फ्यूल की तरफ माचिस फेंक देता है। जिससे कार जलने लगती है। बलवंत त्यागी और उसका भाई तथा सिपाही हैरान हो जाते है। वहीं पर यह एपिसोड खत्म हो जाता है।