प्रतिज्ञा 2

प्रतिज्ञा 2: 25 मार्च के एपिसोड की पूरी कहानी हिंदी में लिखित अपडेट के साथ। Pratigya 2,25 March episode Written Update in Hindi

एपिसोड की शुरुआत में ही सज्जन सिंह का पूरा परिवार होली मना रहा होता है। सभी लोग झूम रहे होते है। प्रतिज्ञा,शक्ति,केसर,समर,गिरीश,कृति और गर्व सभी होली खेलने में मस्त होते है, इसी बीच गिरीश और समर अपनी बुआ कोमल को रंग फेंकने के लिए जाते है,तभी वहां पर शक्ति उन्हे डांटता है,और बताता है कि हमारे यहां विधवा स्त्रियां होली नहीं खेलती है। तभी वहां प्रतिज्ञा शक्ति सिंह को इन सब कुरीतियों को दूर करने की बात को समझाती है,किंतू वह उसकी नहीं सुनता है और गुस्सा होकर दूर चला जाता है। फिर प्रतिज्ञा कोमल को होली खेलने का न्योता देती है,लेकिन वह नहीं आती है।

दूसरे दृश्य में फिर सभी होली खेलने लगते है,सज्जन सिंह खुशी के मारे झूम रहे होते है,तभी वहां पर एक तरफ बलवंत त्यागी की गाड़ी बाहर रुकती है,और वह मैदान कि तरफ बढ़ता है। उसे अन्दर जाते ही सज्जन सिंह मिल जाते है,जो उसे अपने भूत काल के बारे में समझाते हुए,कहते है कि एक जंगल में एक ही शेर होता है। जबकि बलवंत उसे कहता है,की बाहुबली का कोई समय नहीं होता,वह हमेशा बाहुबली ही होता है। दोनों में बलवंत त्यागी के साथ हुई दुर्घटना के बारे में बात होती है,फिर बलवंत प्रतिज्ञा से मिलने के लिए उसकी तरफ जाने लगता है,तभी प्रतिज्ञा द्वारा गलती से उसके उपर रंग फेंक देती है,प्रतिज्ञा बलवंत को देखकर पूरी चौंक जाती है,और सॉरी बोलती है। उधर गर्व बलवंत को देखकर डर जाता है,और फिर वह वहां से भाग जाता है। बलवंत उससे सॉरी नहीं बोलने को कहता है,और फिर कहता है,मुझे कानून पर भरोसा दिलाकर आपने ठीक नहीं किया मैडम जी,मेरा बेटा तो मर गया मेरी होली उसके गम में बीत रही है,जबकि आप यहां होली खेल रही है। आपको उस कार को जलाने वाले को खोजवाना चाहिए था,आज पुलिस के साथ लेकिन आप यहां होली खेल रही है। फिर वह एक छुरी निकालकर अपने हाथ को काट कर बहते हुए,खून को प्रतिज्ञा के गाल पर लगाता है। जिस पर सज्जन सिंह और दूर खड़े इस घटना को देख रहे शक्ति सिंह दोनों गुस्सा होते है। उसके बाद बलवंत नमस्कार कहकर चला जाता है। सज्जन सिंह बलवंत को इस हरकत पर धमकाने के लिए आगे बढ़ता है,लेकिन प्रतिज्ञा उसे रोक लेती है। फिर सज्जन सिंह प्रतिज्ञा को कहता है,की अच्छा हुए अभी घर पर बाबा नहीं है,नहीं तो आज वह यहीं खून कि होली खेलता। फिर वह प्रतिज्ञा को होली खेलने को बोलता है।

कृष्णा ढोल बजाते हुए एंट्री करता है,फिर थोड़ी देर गाना बजाना होता है,सभी होली खेलने लगते है,तभी एक आदमी की एंट्री होती है और वह भी कृष्णा के साथ ढोल बजाने लगता है। गाना समाप्त होने के बाद कृष्णा ठकुराइन और सज्जन सिंह से उस दूसरे आदमी को दिखाते हुए कहता है,की बाबूजी आप इसे पहचानते है? सज्जन सिंह और ठकुराइन दोनों उसे नहीं पहचान नहीं पाते है। कृष्णा परिचय करते हुए जब उसका नाम बताता है,आदर्श जिसे सुनकर कोमल तुरंत उस आदमी की तरफ देखने लगती है,लेकिन फिर कृष्णा उस व्यक्ति के बारे में बताते हुए कहता है,की यह पड़ोस का लड़का है,को बाहर पढ़ने चला गया था। फिर वह सज्जन सिंह का आशीर्वाद लेता है। इधर आदर्श नाम का जिक्र सुनकर कोमल निराश हो जाती है,जिसे देखकर केसर उसे आदर्श के याद आने की बात पूछती है,फिर उसे सांत्वना देती है।

दूसरी ओर कृष्णा गर्व को कहीं नहीं देखता है,फिर वह उसे खोजने लगता है,गर्व एक पेड़ के पीछे छुपा रहता है,कृष्णा उसे उठाता है,और उससे पेड़ के पास आने का कारण पूछता है,फिर गर्व उसे घबराकर बताया है,की यहां पर आज बलवंत त्यागी आया था। फिर एपिसोड समाप्त हो जाता है।

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